आरा-खैरा-सहार पथ पर रोक के बाद भी चल रहे बालू लदे ट्रक, थाने भी मूंद लेते है आंख...

आरा-खैरा-सहार पथ पर रोक के बाद भी चल रहे बालू लदे ट्रक, थाने भी मूंद लेते है आंख...

आरा : अरवल, जहानाबाद व औरंगाबाद को जोड़ने वाले जिले के आरा-खैरा-सहार पथ पर बालू लदे ट्रकों का रात्रि में धड़ल्ले से परिचालन हो रहा है। जिले के तत्कालीन डीएम ने इस प्रमुख सड़क की सुरक्षा एवं यातायात को सुगम एवं सुचारू बनाए रखने के लिए दो वर्ष पहले ही इस पथ पर बालू व गिट्टी लदे वाहनों के परिचालन पर रोक लगा दी थी। बावजूद इसके रात के अंधेरे में रोज बालू की ढुलाई ट्रकों से हो रही है।

जानकारों की मानें तो दर्जनों ट्रक नियमित रूप से मिलीभगत कर बालू लेकर गुजरते हैं। इस दौरान पासिंग गिरोह से लेकर ट्रक मालिक सक्रिय रहते हैं। जब रात के अंधेरे में सड़क सुनसान हो जाती है तब ओवरलोड बालू लदे इन ट्रकों का परिचालन शुरू हो जाता है और अल सुबह तक जारी रहता है। इसके पीछे स्थानीय पुलिस एवं विभाग की मिलीभगत बताई जाती है। कभी-कभार तो दिन के उजाले में भी बालू लेकर ट्रक गुजर जाते हैं। इस बीच वरीय अधिकारियों की कड़ाई के बाद दिखावे और कार्रवाई के नाम पर एक- दो ट्रकों को जब्त कर कार्रवाई की खानापूर्ति की जाती है। इसके एक नहीं कई प्रमाण मिले हैं।

इस पथ पर नहीं चलती विभाग की छापेमारी...

खनन विभाग की टीम का छापेमारी अभियान शायद ही कभी रात में चलाया जाता है। इसका नतीजा है कि बालू लदे ट्रक रात में धड़ल्ले से होकर गुजरते हैं। तीन दर्जन से अधिक ट्रक बालू लेकर इस रोड से परिचालन करते हैं। इसमें कुछ खास लोगों के ही ट्रक शामिल होते हैं।

इस पथ में पड़ने वाले थाने भी मूंद लेते हैं आंख...

वैसे तो इस पथ से होकर रात में ही बालू लदे ट्रक गुजरते हैं। इस दौरान थानों की पुलिस अपनी आंख मूंद लेती है। इसके चलते ट्रकों का परिचालन बेखौफ होकर पूरी रात चलता रहता है। सुबह होने से पहले सभी ट्रक अपने निर्धारित स्थान पर पहुंच जाते हैं।

बालू लदे ट्रकों के परिचालन पर अनभिज्ञता...

आरा- खैरा- सहार पथ पर प्रतिबंध के बावजूद बालू लदे ट्रकों के परिचालन के संदर्भ में पूछे जाने पर जिला खनन पदाधिकारी आनंद प्रकाश ने बताया कि इस पथ पर बालू लदे ट्रकों के परिचालन पर रोक लगाई गई है, लेकिन इस पथ से होकर बालू लदे ट्रकों के परिचालन होने की जानकारी नहीं है। संभवतः स्टॉक वाले लाइसेंसधारी बालू लदे ट्रक लेकर आते होंगे।