आरा : प्रॉपर्टी डीलर हत्याकांड में दो दोषियों को उम्रकैद, 7 गवाहों की गवाही के बाद कोर्ट ने सुनाया फैसला...
आरा : प्रॉपर्टी डीलर मिथून सिंह हत्याकांड में गुरुवार को आरा सिविल कोर्ट में ADJ-8 नीरज किशोर की ओर से सजा सुनाई गई। इस हत्याकांड में कोर्ट ने दो नामजद आरोपितों को दोषी मानते हुए आजीवन कारावास के साथ 25 हजार रुपया का आर्थिक दंड की सजा सुनाई है।
साथ ही, 307 में सश्रम दस साल के साथ 25 हजार रुपए आर्थिक दंड, 27 आर्म्स एक्ट के तहत तीन साल का सश्रम कारावास के साथ 10 हजार का आर्थिक दंड की सजा सुनाई गई है। सजा पाने वालों में चंदन राय और सुमन राय शामिल है। इस कांड में बिट्टू अभी फरार है।
जिला अभियोजन पदाधिकारी मानिक कुमार ने बताया कि 27 सितम्बर 2020 को उपेंद्र कुमार सिंह मिथून सिंह की गोलियों से छलनी कर निर्मम हत्या कर दी गई थी। मानिक कुमार ने बताया कि अपराधियों द्वारा उपेंद्र का जीने का अधिकार छीन लिया गया था। इस कांड में मैने सात गवाहों की गवाही कराई।
उन्होंने बताया कि दीपक पांडेय के इशारे पर उपेंद्र की हत्या कराई गई थी। अपराधियों की मंशा हत्या की थी, गवाही में इंडिपेंडेंस गवाह, इनफॉर्मेंट, आई विटनेस, डॉक्टर, अनुसंधानकर्ता, FSL समेत मौके से मिले कारतूस और खोखे से इस हत्याकांड का प्रमाण कराया।
मृतक उपेंद्र प्रापर्टी डीलर का काम करते थे। इस हत्या के बाद मृतक उपेंद्र के पिता सीताराम सिंह के बयान पर सुमन राय, बिट्टू, रिशु एवं दीपक को नामजद आरोपित किया गया था। उहोंने आवेदन के जरिए बताया था कि 27 सितंबर 2020 को उपेंद्र कुमार सिंह उर्फ मिथून सिंह एवं उनके दोस्त तत्कालीन जदयू का राष्ट्रीय सचिव प्रिंस सिंह बजरंगी को हथियारबंद अपराधियों ने आरा शहर के नवादा थाना क्षेत्र के जगदेव नगर में ताबड़तोड़ फायरिंग कर दोनों को गोली मार दी थी। इस घटना में उपेंद्र की मौके पर मौत हो गई जबकि प्रिंस सिंह बजरंगी गोली लगने से बुरी तरह घायल हो गया।
सीताराम सिंह ने बताया था कि उपेंद्र प्रॉपर्टी डीलर का काम करते थे। उपेंद्र के द्वारा एक जमीन खरीदारी करने का प्लानिंग कर रहा था। इसी बीच नामजद दीपक की ओर से बराबर धमकी दी जा रही थी। कहां जा रहा था कि इस जमीन को लेने पर इसका अंजाम बुरा होगा। धमकी के बाद इस घटना की जानकारी उपेंद्र ने नवादा थाना को दी थी।
इसी बीच 27 सितंबर 2020 को शाम 4:30 बजे जगदेव नगर के दुर्गा मंदिर के पास तीन चार की संख्या में अपराधी अपने हाथों में पिस्टल लिए हुए आ धमके और ताबड़तोड़ फायरिंग करने लगे । जिसमें मेरे पुत्र उपेंद्र की मौके पर मौत होगी और प्रिंस सिंह बजरंगी जख्मी हो गया। घटना को अंजाम देने के बाद सुमन, बिट्टू और रिशु हथियार लहराते हुए मौके से फरार हो गए।
वहीं, इस हत्याकांड में गवाह धर्मेंद्र सिंह पर भी नाम जद आरोपितों के द्वारा हत्या की साजिश रची गई थी। प्लानिंग करने में रितेश राय, भोला राय, शुभम कुमार, आर्यन कुमार और जितेंद्र कुमार शामिल थे। इन लोगों के द्वारा 2024 में छठ के समय हत्या की साजिश रची गई थी। लेकिन पुलिस ने हत्या से पहले ही अपराधियों के मनसा पर पानी फेरते हुए ऋषि कुमार उर्फ ऋषिकेश को हथियार के साथ गिरफ्तार कर लिया गया था।