कंबल वाले बाबा' का लगा दरबार: रोगियों ने कहा- कोई फायदा नहीं हुआ, कल फिर बुलाया गया...500 रुपए पर मिल रही एंट्री...
पटना : बक्सर के पिपराढ़ गांव में गायत्री महायज्ञ का समापन हुआ। इसी के साथ ही 'काली कमली वाले बाबा' का दरबार भी लग रहा है। 'कंबल वाले बाबा' का दावा है कि जो देश-विदेश से दवा कराकर निराश हैं, वह उनके कंबल के चमत्कार से सारे असाध्य रोग ठीक हो जाएंगे।
इस दौरान कंबल वाले बाबा से इलाज कराकर निकल रहे लोगों से बात करने पर पता चला। उनका कहना है कि अभी कोई फायदा महसूस नहीं हुआ है। पीड़ित परिवारों ने बताया कि 500 की पर्ची दिखाने के बाद ही एंट्री मिल रही है। कुछ बिना पर्ची वाले घुसने का प्रयास किए तो उनको बाहर का रास्ता दिखा दिया गया।
पिपराढ़ गांव में चतुर्मास के समापन पर महायज्ञ के साथ ही कंबल वाले बाबा के शिविर में भी लोग पहुंच रहे हैं। इसके लिए यज्ञ परिसर में 50 स्क्वायर के लगभग जमीन पर टीन का शेड लगाया गया है। इसके लिए एक छोटा सा निकासी द्वार बनाया गया है। वहीं इसी टीन शेड के अंदर पर्ची दिखाने पर अपने रोगियों को लेकर आए परिजनों को प्रवेश मिल रहा है।
पिरो सिकरौल से अपने दिव्यांग बच्चे को लेकर पहुंचे पीड़ित परिवार ने बताया कि आज कंबल बाबा ने देखा है। लेकिन अभी तक कोई फायदा नहीं हुआ है। कल फिर बुलाया है। धनसोई से पहुंचे राहुल कुमार एक पैर से लकवा ग्रस्त हैं। उन्होंने भी यही कहा कि अभी तक कोई फायदा नहीं हुआ है। कंबल वाले बाबा ने फिर बुलाया है।
नोखा थाना के कैथी से पहुंचे जितेंद्र सिंह ने बताया कि 500 रुपए दिखाने का लगा है। लेकिन आज कोई फायदा नहीं है, पहली बार आए हैं। कल फिर बुलाया गया है। बिहार के रनपुरा से पहुंचे राजू कुमार ने कहा कि कुछ फायदा समझ में नहीं आ रहा है। इसी तरह से कई लोगों से बात की गई। कोई भी एक ऐसा इंसान नहीं मिला जिसने कहा हो की कंबल वाले बाबा से दिखाने के बाद कोई फायदा हुआ है।